बांद्रा वर्ली सी लिंक बहुत शानदार|| Bandra Worli Mumbai sea link
बहुत ही शानदार ब्रिज करीब साढे 5 किलोमीटर लंबा और काफी रास्ते में किफायत जाम ना लगने में।
ऐसे ही एक बांद्रा वर्षों में 23 किलोमीटर लंबा इसमें 2 घंटे का रास्ता मात्र 15 मिनट में।
बांद्रा-वर्ली समुद्रसेतु (आधिकारिक राजीव गांधी सागर सेतु) ८-लेन का, तार-समर्थित कांक्रीट से निर्मित पुल है। यह बांद्रा को मुम्बई के पश्चिमी और दक्षिणी (वर्ली) उपनगरों से जोड़ता है और यह पश्चिमी-द्वीप महामार्ग प्रणाली का प्रथम चरण है। १६ अरब रुपये (४० करोड़ $) की महाराष्ट्र राज्य सड़क विकास निगम की इस परियोजना के इस चरण को हिन्दुस्तान कंस्ट्रक्शन कंपनी द्वारा पूरा किया गया है। इस पुल का उद्घाटन ३० जून, २००९ को संयुक्त प्रगतिशील गठबंधन प्रमुख श्रीमती सोनिया गांधी द्वारा किया गया लेकिन जन साधारण के लिए इसे १ जुलाई, २००९ को मध्य-रात्रि से खोला गया। साढ़े पांच किलोमीटर लंबे इस पुल के बनने से बांद्रा और वर्ली के बीच यात्रा में लगने वाला समय ४५ मिनट से घटकर मात्र ६-८ मिनट रह गया है।[2][3] इस पुल की योजना १९८० के दशक में बनायी गई थी, किंतु यह यथार्थ रूप में अब जाकर पूर्ण हुआ है।[3][4]



बांद्रा-वर्ली समुद्रसेतु
बांद्रा-वर्ली समुद्रसेतु
निर्देशांक19°1′40″N 72°48′56″W / 19.02778°N 72.81556°Wले जाता हैयातायात हेतु ८ लेन जिसमें से २ बसों के लिएको पार करती हैमाहिम खाड़ीस्थानीयमुम्बईआधिकारिक नामराजीव गांधी सागर सेतुविशेषताडिजाइनरज्जु कर्षणकुल लंबाई5.6 किलोमीटर (3 मील)इतिहासशुरू हुआ३० जून, २००९[1]आँकड़ेटोल५० रू एक ओर के ७५ रू आने-जाने के
यह सेतु मुंबई और भारत में अपने प्रकार का प्रथम पुल है। इस सेतु-परियोजना की कुल लागत १६.५० अरब रु है।[2][3] इस पुल की केवल प्रकाश-व्यवस्था करने के लिए ही ९ करोड़ रु का व्यय किया गया है। इसके कुल निर्माण में ३८,००० कि.मी इस्पात रस्सियां, ५,७५,००० टन कांक्रीट और ६,००० श्रमिक लगे हैं। इस सेतु में लगने वाले इस्पात के खास तारों को चीन से मंगाया गया था। जंग से बचाने के लिए इन तारों पर खास तरह का पेंट लगाने के साथ प्लास्टिक के आवरण भी चढ़ाए गए हैं।[2] अब तैयार होने पर इस पुल से गुजरने पर यात्रियों को चुंगी (टोल) कर देना तय हुआ है। यह चुंगी किराया प्रति वाहन ४०-५० रु तक होगा। इस पुल की कुल ७ कि.मी (ढान सहित) के यात्रा-समय में लगभग १ घंटे की बचत और कई सौ करोड़ वाहन संचालन व्यय एवं ईंधन की भी कटौती होगी। इस बचत को देखते हुए इसकी चुंगी नगण्य है। प्रतिदिन लगभग सवा लाख वाहन इस पुल पर से गुजरेंगे।
मुंबईः बांद्रा से वर्सोवा का सफर 2 घंटे में नहीं, सिर्फ 15 मिनट में होगा तय
मुंबई के वर्ली से वर्सोवा तक करीब 23 किलोमीटर का सफर महज 15 मिनट में तय होगा। इसे पूरा करने में सामान्य तौर पर 2 घंटे लग जाते हैं। बांद्रा-वर्सोवा सी लिंक का निर्माण पूरा हो जाने के बाद यह दूरी घंटों से
मुंबई
मुंबई के वर्ली से वर्सोवा तक करीब 23 किलोमीटर का सफर महज 15 मिनट में तय होगा। इसे पूरा करने में सामान्य तौर पर 2 घंटे लग जाते हैं। बांद्रा-वर्सोवा सी लिंक का निर्माण पूरा हो जाने के बाद यह दूरी घंटों से मिनटों में तय की जा सकेगी। इसका काम अगले महीने शुरू होगा और 2023 के अंत तक इसे पूरा करने का लक्ष्य रखा गया है।